भाेपाल। लोकसभा में नेता विपक्ष राहुल गांधी द्वारा वोटर लिस्ट में गड़बड़ी के मुद्दे पर चुनाव आयोग पर सवाल उठाए जाने के बाद अब मध्य प्रदेश के नेता प्रतिपक्ष उमंग सिंघार ने भी 2023 के विधानसभा चुनाव में करीब 16 लाख वोटों का हेरफेर किए जाने का आरोप लगाया है। उन्होंने दावा किया कि भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) ने चुनाव आयोग की मिलीभगत से मध्य प्रदेश में सरकार बनाई है। सिंघार ने कहा कि बीजेपी ने फर्जी जनादेश के आधार पर सत्ता हासिल की, जिसमें चुनाव आयोग ने उनकी मदद की।
नेता प्रतिपक्ष उमंग सिंघार ने मंगलवार काे अपने निवास पर एक पत्रकार वार्ता काे संबाेधित करते हुए चुनाव आयोग पर गंभीर आरोप लगाए हैं। उमंग सिंघार ने मतदाता सूची में गड़बड़ी का आरोप लगाते हुए कहा कि विधानसभा चुनाव के दौरान महज दो महीनों में 16 लाख मतदाता बढ़ गए, लेकिन इसकी जानकारी राजनीतिक दलों को नहीं दी गई। नेता प्रतिपक्ष ने कहा कि 9 जून 2023 को भारत निर्वाचन आयोग ने छत्तीसगढ़, मध्य प्रदेश, मिज़ोरम, राजस्थान और तेलंगाना के मुख्य निर्वाचन अधिकारी को निर्देश दिया कि 1 जनवरी 2023 — 30 जून 2023 के बीच हुए जोड़-घटाव और संशोधनों को वेबसाइट पर प्रकाशित न किया जाए और न ही किसी के साथ साझा किया जाए। प्रेस कॉन्फ्रेंस में कहा गया कि यह निर्देश उसी दिन पूरे देश के सभी राज्यों और केन्द्र शासित प्रदेशों के मुख्य निर्वाचन अधिकारियों पर लागू कर दिया गया। उन्होंने सवाल उठाया कि चुनाव आयोग ने बीते तीन चुनावों का डेटा क्यों नहीं रखा, जबकि नियमों में इसका प्रावधान है। सिंघार ने सेवड़ा, ग्वालियर दक्षिण, करेरा, छतरपुर, मुंगावली, और चित्रकूट समेत कई विधानसभा सीटों पर वोटर संख्या में असामान्य वृद्धि का दावा किया। उन्होंने कहा कि औसतन हर सीट पर 10 हजार वोट बढ़ाए गए। इसके अलावा, चुनाव आयोग पर सीसीटीवी फुटेज और मतदाता सूची की पूरी जानकारी सार्वजनिक न करने का भी आरोप लगाया।
सिंघार ने कहा कि हमने मध्य प्रदेश के बारे में चीजें समझी कि किस तरह से वोट चोरी कर फर्जी जनादेश लेकर भाजपा ने सरकार बनाई। इसमें चुनाव आयोग ने किस तरह से भाजपा की सरकारें बनाने में अपनी अहम भूमिका निभाई। चुनावी साल 2023 में मध्य प्रदेश में 34 लाख से ज्यादा नाम जोड़े गए। अंतिम दो माह में हर रोज 26 हजार वोट जोड़े। टोटल 16 लाख वोट जोड़े गए। 2018 के चुनाव में भाजपा को कांग्रेस से 1% से ज्यादा वोट मिले थे। लेकिन 2023 में यह बढ़ कर 8-9% हो गया। उन्होंने आरोप लगाया कि मध्य प्रदेश में लगभग 8-9% वोट की चोरी हुई।
नेता प्रतिपक्ष ने कहा कि चुनाव आयोग कहता है कि हम पारदर्शिता रखते हैं। सभी पार्टियां हमारी स्टेकहोल्डर होती हैं। हर चुनाव में हम सभी राजनीतिक दलों को मतदाता सूची देते हैं। कौन सी सूचियां देते हैं और कौन सी नहीं देते। कैसे वोट बढ़ाए या काटे जाते हैं। ये मतदाता सूचियां देने में ही गड़बड़ है। आयोग दावा करता है कि जानकारी वेबसाइट पर उपलब्ध है, लेकिन बूथ स्तर की पूरी लिस्ट नहीं दिखाई जाती। कांग्रेस नेता ने मांग की है कि मतदाता सूची को फ्रिज किया जाए और चुनाव आयोग के वरिष्ठ अधिकारियों को इस्तीफा देना चाहिए। उन्होंने चेतावनी दी कि इस मामले को लेकर कांग्रेस कोर्ट का रुख करेगी। सिंघार ने दावा किया कि कांग्रेस के पास 35 सीटों का डेटा है, जो यह साबित करता है कि सभी सीटों पर चुनाव आयोग ने बीजेपी के लिए हेराफेरी की। उन्होंने कहा, “मध्य प्रदेश में बीजेपी की सरकार जनादेश से नहीं, बल्कि चुनाव आयोग के गठजोड़ से बनी है।”
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