CBSE New Rule for Private Students: सीबीएसई 10वीं-12वीं बोर्ड परीक्षा में अब स्टूडेंट्स एडिशनल सब्जेक्ट नहीं चुन सकेंगे। केंद्रीय माध्यमिक शिक्षा बोर्ड (CBSE) अब प्राइवेट स्टूडेंट्स को एडिशनल सब्जेक्ट चुनने का मौका नहीं देगा। बोर्ड ने यह फैसला सीबीएसई बोर्ड परीक्षा 2026 के लिए लिया है।
यह बात तब सामने आई जब सीबीएसई ने हाल ही में प्राइवेट स्कूलों के लिए सीबीएसई बोर्ड परीक्षा 2026 का नोटिस जारी किया, लेकिन 12वीं क्लास में अतिरिक्त विषय चुनने का कोई विकल्प नहीं था।
दरअसल, 10वीं या 12वीं पास करने के बाद कुछ स्टूडेंट्स को दो साल तक बतौर प्राइवेट स्टूडेंट्स एडिशनल सब्जेक्ट की परीक्षा देने का मौका मिलता था। स्टूडेंट्स अपनी पिछली क्लास में चुने गए सब्जेक्ट से अलग अपने करियर (इंजीनियरिंग या मेडिकल) के हिसाब से एडिशनल सब्जेक्ट्स की परीक्षा दे सकते थे। ताकि जेईई या नीट जैसी परीक्षा दे सकें। लेकिन अब सीबीएसई ने यह रास्ता बंद कर दिया है।
यह ऑप्शन हटने के बाद स्टूडेंट्स का मानना है कि इससे उनके करियर ऑप्शन सिमट जाएंगे। सीबीएसई ने यह नियम तब जारी किए जब स्टूडेंट्स अपने एग्जाम के लिए लगभग पूरी तैयारी कर चुके हैं।
कौन-से सब्जेक्ट भर सकेंगे स्टूडेंट्स?इन बदलावों की वजह से प्राइवेट स्टूडेंट्स के पास उन्हीं सब्जेक्ट के विकल्प होंगे जो उन्होंने अपनी 12वीं क्लास में भरे होंगे। इसकी वजह से ही स्टूडेंट्स परेशान हैं। स्टूडेंट्स के अनुसार इससे करियर के विकल्पों पर असर पड़ सकता है।
सीबीएसई के नोटिस में क्या है?पिछले हफ्ते सीबीएसई ने प्राइवेट स्टूडेंट्स के एडिशनल सब्जेक्ट पर एक नोटिस जारी किया था। इसके बाद कई स्टूडेंट्स ने सीबीएसई को मेल भेजे। इसके बाद सोमवार को सीबीएसई ने इस पर पब्लिक नोटिस जारी किया है। बोर्ड ने स्पष्ट किया है कि स्टूडेंट 10वीं में दो एडिशनल सब्जेक्ट और 12वीं में एक एडिशनल सब्जेक्ट ले सकेंगे। स्टूडेंट्स को दो साल इन एडिशनल सब्जेक्ट की पढ़ाई करनी होगी।
अगर रेगुलर स्टूडेंट्स को पिछले एडिशनल सब्जेक्ट में कंपार्टमेंट केटेगरी में डाला जाता है तो वह प्राइवेट स्टूडेंट्स के तौर पर शामिल हो सकेगा। इसके साथ ही सीबीएसई से जुडे़ स्कूलों में किसी सब्जेक्ट के लिए बोर्ड के लिए मंजूरी नहीं ली है और वहां उसके टीचर्स, लैब आदि की व्यवस्था नहीं है तो भी स्टूडेंट्स एडिशनल सब्जेक्ट नहीं ले सकेंगे।
सीबीएसई के नए नियम से क्यों परेशान हुए स्टूडेंट्स?स्टूडेंट्स के अनुसार इसका असर व्यापक तौर पर पड़ेगा। कीर्ति नगर की प्रतिमा ने बताया कि उसने 2014 में फिजिक्स, केमेस्ट्री और बायोलॉजी से 12वीं पास की थी। अब वह जेईई देना चाहती है और उसने सोचा था कि वह एडिशनल सब्जेक्ट के तौर पर प्राइवेट स्टूडेंट की तरह मैथ्स का एग्जाम देगी। लेकिन अब सीबीएसई ने इस ऑप्शन को खत्म कर दिया है।
इसी तरह मयूर विहार की सुरभी ने बताया कि कई एंट्रेस एग्जाम में मैथ्स जरूरी है। बिना एडिशनल सब्जेक्ट के कई स्टूडेंट के लिए यह क्राइटेरिया पूरा करना मुश्किल हो जाएगा। मैथ्स के अलावा इतिहास, भूगोल, अकाउंट्स और बिजनेस स्टड़ी के लिए भी कई स्टूडेंट्स को मुश्किलें आ सकती हैं।
30 सितंबर तक फॉर्म भर सकते हैं स्टूडेंट्सप्राइवेट स्टूडेंट्स के पास आवेदन जमा करने का मौका 30 सितंबर तक है। ऐसे में अब स्टूडेंट्स इस नियम को वापस लेने की मांग कर रहे हैं। उन्होंने सीबीएसई से अपील की है कि प्राइवेट स्टूडेंट्स को भी एडिशनल सब्जेक्ट का विकल्प दिया जाए। 2026 के लिए काफी स्टूडेंट इसकी तैयारी में व्यस्त हैं। ऐसे में स्टूडेंट्स का मानना है कि अंतिम समय में सीबीएसई का यह कदम स्टूडेंट्स के लिए सही नहीं है।
यह बात तब सामने आई जब सीबीएसई ने हाल ही में प्राइवेट स्कूलों के लिए सीबीएसई बोर्ड परीक्षा 2026 का नोटिस जारी किया, लेकिन 12वीं क्लास में अतिरिक्त विषय चुनने का कोई विकल्प नहीं था।
दरअसल, 10वीं या 12वीं पास करने के बाद कुछ स्टूडेंट्स को दो साल तक बतौर प्राइवेट स्टूडेंट्स एडिशनल सब्जेक्ट की परीक्षा देने का मौका मिलता था। स्टूडेंट्स अपनी पिछली क्लास में चुने गए सब्जेक्ट से अलग अपने करियर (इंजीनियरिंग या मेडिकल) के हिसाब से एडिशनल सब्जेक्ट्स की परीक्षा दे सकते थे। ताकि जेईई या नीट जैसी परीक्षा दे सकें। लेकिन अब सीबीएसई ने यह रास्ता बंद कर दिया है।
यह ऑप्शन हटने के बाद स्टूडेंट्स का मानना है कि इससे उनके करियर ऑप्शन सिमट जाएंगे। सीबीएसई ने यह नियम तब जारी किए जब स्टूडेंट्स अपने एग्जाम के लिए लगभग पूरी तैयारी कर चुके हैं।
कौन-से सब्जेक्ट भर सकेंगे स्टूडेंट्स?इन बदलावों की वजह से प्राइवेट स्टूडेंट्स के पास उन्हीं सब्जेक्ट के विकल्प होंगे जो उन्होंने अपनी 12वीं क्लास में भरे होंगे। इसकी वजह से ही स्टूडेंट्स परेशान हैं। स्टूडेंट्स के अनुसार इससे करियर के विकल्पों पर असर पड़ सकता है।
सीबीएसई के नोटिस में क्या है?पिछले हफ्ते सीबीएसई ने प्राइवेट स्टूडेंट्स के एडिशनल सब्जेक्ट पर एक नोटिस जारी किया था। इसके बाद कई स्टूडेंट्स ने सीबीएसई को मेल भेजे। इसके बाद सोमवार को सीबीएसई ने इस पर पब्लिक नोटिस जारी किया है। बोर्ड ने स्पष्ट किया है कि स्टूडेंट 10वीं में दो एडिशनल सब्जेक्ट और 12वीं में एक एडिशनल सब्जेक्ट ले सकेंगे। स्टूडेंट्स को दो साल इन एडिशनल सब्जेक्ट की पढ़ाई करनी होगी।
अगर रेगुलर स्टूडेंट्स को पिछले एडिशनल सब्जेक्ट में कंपार्टमेंट केटेगरी में डाला जाता है तो वह प्राइवेट स्टूडेंट्स के तौर पर शामिल हो सकेगा। इसके साथ ही सीबीएसई से जुडे़ स्कूलों में किसी सब्जेक्ट के लिए बोर्ड के लिए मंजूरी नहीं ली है और वहां उसके टीचर्स, लैब आदि की व्यवस्था नहीं है तो भी स्टूडेंट्स एडिशनल सब्जेक्ट नहीं ले सकेंगे।
सीबीएसई के नए नियम से क्यों परेशान हुए स्टूडेंट्स?स्टूडेंट्स के अनुसार इसका असर व्यापक तौर पर पड़ेगा। कीर्ति नगर की प्रतिमा ने बताया कि उसने 2014 में फिजिक्स, केमेस्ट्री और बायोलॉजी से 12वीं पास की थी। अब वह जेईई देना चाहती है और उसने सोचा था कि वह एडिशनल सब्जेक्ट के तौर पर प्राइवेट स्टूडेंट की तरह मैथ्स का एग्जाम देगी। लेकिन अब सीबीएसई ने इस ऑप्शन को खत्म कर दिया है।
इसी तरह मयूर विहार की सुरभी ने बताया कि कई एंट्रेस एग्जाम में मैथ्स जरूरी है। बिना एडिशनल सब्जेक्ट के कई स्टूडेंट के लिए यह क्राइटेरिया पूरा करना मुश्किल हो जाएगा। मैथ्स के अलावा इतिहास, भूगोल, अकाउंट्स और बिजनेस स्टड़ी के लिए भी कई स्टूडेंट्स को मुश्किलें आ सकती हैं।
30 सितंबर तक फॉर्म भर सकते हैं स्टूडेंट्सप्राइवेट स्टूडेंट्स के पास आवेदन जमा करने का मौका 30 सितंबर तक है। ऐसे में अब स्टूडेंट्स इस नियम को वापस लेने की मांग कर रहे हैं। उन्होंने सीबीएसई से अपील की है कि प्राइवेट स्टूडेंट्स को भी एडिशनल सब्जेक्ट का विकल्प दिया जाए। 2026 के लिए काफी स्टूडेंट इसकी तैयारी में व्यस्त हैं। ऐसे में स्टूडेंट्स का मानना है कि अंतिम समय में सीबीएसई का यह कदम स्टूडेंट्स के लिए सही नहीं है।
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