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70 वर्षीय उमाशंकर कांदवे से 44 लाख की साइबर ठगी, आरोपी गिरफ्तार

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रांची साइबर अपराध पुलिस ने 70 वर्षीय उमाशंकर कांदवे से 44 लाख रुपये की साइबर ठगी के मामले में एक आरोपी को गिरफ्तार किया है। गिरफ्तार आरोपी का नाम यशवर्धन कुमार बताया गया है। पुलिस ने यह जानकारी शुक्रवार को दी।पुलिस के अनुसार, उमाशंकर कांदवे को फर्जी ट्रेडिंग ऐप कैंटिलोन में निवेश करने का लालच दिया गया। इस ऐप के माध्यम से उन्हें करोड़ों रुपए का निवेश करने के बहाने फर्जी वादे कर ठगी का शिकार बनाया गया। पुलिस ने बताया कि यह मामला केवल एक अकेले व्यक्ति तक सीमित नहीं है और ऐसे फर्जी निवेश ऐप्स का दायरा व्यापक है।

गिरफ्तार किए गए यशवर्धन कुमार के खिलाफ अन्य राज्यों में भी शिकायतें दर्ज हैं। पुलिस ने बताया कि आरोपी के बैंक खाते के खिलाफ 17 राज्यों में कुल 46 शिकायतें दर्ज की गई हैं। इस आंकड़े से स्पष्ट होता है कि आरोपी ने लंबे समय से साइबर ठगी के मामलों में सक्रिय रूप से भाग लिया है।साइबर अपराध शाखा ने लोगों से सावधानी बरतने की अपील की है। उन्होंने कहा कि निवेश या फाइनेंसियल लेनदेन करते समय हमेशा विश्वसनीय और कानूनी प्लेटफार्म का ही इस्तेमाल किया जाए। किसी भी तरह की अज्ञात या संदिग्ध ऐप में निवेश से बचना चाहिए।

विशेषज्ञों का कहना है कि फर्जी ट्रेडिंग ऐप्स और ऑनलाइन निवेश के माध्यम से लोगों को अक्सर बड़े लाभ का लालच दिया जाता है, लेकिन इसमें छिपे जोखिम और ठगी के मामले गंभीर हैं। उन्होंने निवेशकों को सतर्क रहने और लेनदेन करने से पहले पूरी जानकारी लेने की सलाह दी।पुलिस ने कहा कि यशवर्धन कुमार की गिरफ्तारी से अपराध की श्रृंखला को तोड़ने में मदद मिलेगी। साथ ही अन्य लोगों को सतर्क करने और साइबर ठगी के खिलाफ जागरूकता बढ़ाने के लिए यह कार्रवाई अहम है।

साइबर अपराध विशेषज्ञों का कहना है कि बड़े और जटिल निवेश मामलों में हमेशा कानूनी परामर्श लेना चाहिए। किसी भी संदिग्ध ऐप, वेबसाइट या निवेश स्कीम के पीछे छिपी ठगी का पता लगाना आसान नहीं होता। इसलिए व्यक्तिगत और वित्तीय सुरक्षा के लिए सतर्कता बेहद जरूरी है। उमाशंकर कांदवे जैसे वरिष्ठ नागरिकों को विशेष रूप से सावधान रहने की सलाह दी जाती है, क्योंकि ठग अक्सर वृद्ध व्यक्तियों को अपने फर्जी प्रस्तावों का निशाना बनाते हैं। पुलिस ने बताया कि इस तरह के मामलों में शिकायत तुरंत दर्ज कराना और कानूनी कार्रवाई शुरू कराना आवश्यक है।इस गिरफ्तारी से रांची साइबर अपराध पुलिस ने यह संदेश दिया है कि साइबर ठगी करने वालों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी और किसी भी तरह की ऑनलाइन ठगी बर्दाश्त नहीं की जाएगी।

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